वाटर पोर्टल / वर्षाजल संचयन / कोहरा और ओस संग्रह

From Akvopedia
< वाटर पोर्टल / वर्षाजल संचयन
Revision as of 02:31, 15 January 2016 by Winona (talk | contribs)

(diff) ← Older revision | Latest revision (diff) | Newer revision → (diff)
Jump to: navigation, search
English Français Español भारत മലയാളം தமிழ் 한국어 中國 Indonesia Japanese
दक्षिण अफ्रीका का गांव कोहरे को एकत्रित करके उसका फायदा उठाता है। फोटो: वाटरकंजरवेशनडॉटसीओडॉटजेडए

कोहरा एकत्रीकरण (या कोहरा के जल का संरक्षण) वास्तव में कोहरे, बारिश या ओस का पूरी तरह नया, पर्यावरण के लिहाज से एकदम अनुकूल, सामाजिक रूप से लाभदायक और आर्थिक रूप से व्यवहार्य इस्तेमाल है। यह विकासशील देशों के शुष्क इलाकों में रहने वाले लोगों के लिए पानी का बढिय़ा जरिया है। वास्तव में कोहरा पानी की बहुत छोटी-छोटी बूंदों से मिलकर बनता है। हवा के बहाव की मदद से इन बूंदों को प्लास्टिक की शीट की मदद से एकत्रित किया जा सकता है। चुनिंदा शुष्क स्थानों पर यह एकत्रीकरण प्रति शीट 5 लीटर प्रति दिन तक हो सकता है।

अधिक जानें: कोहरा संग्रह और भण्डारण


कैप्शन 2: आर्दता वाले वातावरण में प्रचुर मात्रा में ओस उत्पन्न होती है। फोटो: जैकब्स लैडर

ओस बूदों का संचयन (या ओस भंडारण) में वातावरण में मौजूद ओस का फायदा उठाया जाता है। वातावरण में मौजूद ओस की बूंदें संघनीकरण के जरिए अपने विशुद्ध रूप में वापस पृथ्वी पर आती हैं। ओस भंडारण नया नहीं है बल्कि यह काम तो प्राचीन काल से होता आ रहा है। ऐसा खासतौर पर उन इलाकों में होता था जहां बारिश भी कम होती थी और भूजल का स्तर भी कमतर था। जब हवा में आर्दता बढ़ॄी है और नीचे ठंडी सतह होती है तो ओस की बूंदों को सघन होने का अवसर मिलता है। आर्दता कम होने तक वे बूंदें लगातार उस सतह पर एकत्रित होती रहती हैं। मरुस्थलीय इलाकों में पौधरोपण के जरिए कुछ ऐसे तरीके निकाले गए जो खुद अपनी आर्दता की मदद से बूंदों को अपनी तरफ आकृष्ट करते। इसके अलावा उन्होंने मरुस्थल में नए सिरे से वन लगाने का काम किया। यह तकनीक दुनिया भर में बहुत तेजी से फैली।


अधिक जानें: ओंस संग्रह और भण्डारण


सन्दर्भ साभार